कट्टरपंथी संगठन RSS प्रमुख मोहन भगवत ने हिंदुओं से धर्म परिवर्तन करने वालों की 'घर वापसी' करवाने का आह्वाहन किया | Radical Organization RSS chief Mohan Bhagwat Asks Hindus to Ensure 'Ghar Wapsi' of Those Who Have Converted.

कट्टरपंथी संगठन RSS प्रमुख मोहन भगवत ने हिंदुओं से धर्म परिवर्तन करने वालों की 'घर वापसी' करवाने का आह्वाहन किया | Radical Organization RSS chief Mohan Bhagwat Asks Hindus to Ensure 'Ghar Wapsi' of Those Who Have Converted.

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हिन्दू आतंकवादी संस्था राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने बुधवार, 15 दिसंबर को कट्टरपंथी हिंदुओं से अन्य धर्मों में परिवर्तित होने वाले हिन्दुओं की "घर वापसी" सुनिश्चित करने का संकल्प लेने को कहा।

मध्य प्रदेश के चित्रकूट में मोहन भागवत ने बेबुनियाद इलज़ाम लगाते हुए हिंदुत्व कट्टरपंथियों से गुहार लगाया है की मुसलमानों और ईसाइयों में जो "धर्मांतरण" हुआ है उन्हें वापस से हिन्दू धर्म में लाया जाए और उनकी घर वापसी सुनिश्चित की जाए - बता दें की मोहन भगवत का यह ब्यान भारत में बढ़ रहे इस्लामॉफ़ोबिअ के बीच आया है !

दक्कन हेराल्ड की एक रिपोर्ट के अनुसार, कट्टरपंथी हिन्दू संस्था के चीफ मोहन भागवत की तरह, चित्रकूट में 'हिंदू महाकुंभ' के वक्ताओं ने बार-बार "लव जिहाद" और "धर्मांतरण" का मुद्दा उठाते हुए हिन्दुओं को उकसाने की भरपूर कोशिश की है। कई भाजपा शासित राज्यों ने हाल के दिनों में "लव जिहाद" कानून लाए हैं, जिससे संघ परिवार के इस बात को मज़ीद सुनिश्चित किया गया है की शादी के माध्यम से हिंदू महिलाओं को इस्लाम में परिवर्तित करने की साजिश की जा रही है। हालांकि, केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा था कि उसके पास ऐसे मामलों का कोई डेटा मौजूद  नहीं है जहाँ किसी हिन्दू महिला को जबरन इस्लाम या ईसाई धर्म में धर्मांतरण करवाया गया हो।

कट्टरपंथी संस्था के चीफ मोहन भागवत ने कहा, "संकल्प लें कि मैं धर्मांतरण करने वालों को हिंदू धर्म अपनाने के लिए मनाऊंगा और यह भी सुनिश्चित करूंगा कि हिंदू धर्मांतरित ना हों। मैं अपनी हिंदू बहनों की गरिमा की रक्षा करने का भी संकल्प लेता हूं।"

बता दें की भारत भर में, विशेष रूप से कर्नाटक और उत्तराखंड में हाल के दिनों में, हिंसा की कई सारी घटनाएं सामने आई हैं जिसमें अल्पसंख्यक समुदायों जैसे की मुसलमानो और ईसाईयों पर "जबरन धर्मांतरण" का निराधार और अप्रमाणित आरोप लगा कर उनकी प्रार्थना सभाएं बाधित की गई हैं।

पीयूसीएल ने हाल की अपनी एक रिपोर्ट में कहा था कि हिन्दू कट्टरपंथियों द्वारा "अवैध धर्मांतरण" का दावा बिलकुल बेबुनियाद और निराधार है और कर्नाटक में इस तरह के दक्षिणपंथी हमलों में यह एक पैटर्न देखि गई है। 

सभा में मौजूद दूसरे हिंदुत्व चरमपंथियों ने, बिना सबूत के "लव जिहाद के नाम पर हिंदू लड़कियों को लालच दिया जा रहा है का मुद्दा उठाया", गाय संरक्षण कानूनों की मांग की, और कहा की, "हमारे पास पहले से ही A और K है, अब हम M चाहते हैं।"

'A', 'K' और 'M' को क्रमशः 'अयोध्या' और 'काशी' के लिए समझा जाता है। जबकि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण जारी है, 1992 में कार सेवकों द्वारा नष्ट किए जाने तक जिस जमीन पर बाबरी मस्जिद खड़ी थी, उस पर मालिकाना हक के विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद, हिंदुत्व आतंकी अब अन्य मस्जिदों के विध्वंस पर हर आये दिन हमले कर रहे हैं । बता दें की अब चरमपंथी हिन्दुओ का अगला निशाना वाराणसी और मथुरा है जिसे M से सम्बोधित किया जा रहा है।

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